पत्रकार नईम क़ुरैशी - भ्रष्टाचार मुक्त व शराब मुक्त राजस्थान के लिए हमेशा याद किए जाएंगे गुरूषरण छाबड़ा
भ्रष्टाचार मुक्त व शराब मुक्त राजस्थान के लिए हमेशा याद किए जाएंगे गुरुशरण छाबड़ा
स्व. श्री गुरुशरण छाबड़ा जी देश के उन थोड़े से महान नेताओं में थे जो सदैव गांधीवादी विचारधारा को अपना आदर्ष मानकर कार्य करते रहे। उन्होंने कभी अपने पद का दुरूपयोग नही किया और किसी भी प्रकार धन-सम्पत्ति जुटाने से भी वे सर्वथा दूर रहे।
असहाय गरीबों के हक और अधिकार के लिए संघर्ष करने में हमेषा आगे रहने वाले स्वं गुरुशरण छाबड़ा जी ने भष्टाचार, विस्थापन जैसे गंभीर मुद्दों पर जनसहयोगीयों के साथ मिलकर उन्होनें अनेक आंदोलन किये। स्वं गुरुशरण छाबड़ा जी ने 14 बार अनशन किया सिर्फ जनहित के मुद्दों के लिए और 14वीं बार उन्होंने अपने प्राणों की आहुति दी। स्वं गुरुशरण छाबड़ा जी 69 वर्ष के थे, उन्होंने 1977 में जनता पार्टी के टिकट पर सूरतगढ़ से विधायक चुनें गए थे। स्वं गुरुशरण छाबड़ा जी षराबबंदी को पूरी मुस्तैदी से लागू करने के लिए हर पहलू पर फोकस किया। तथा सख्त कानून लागू करवाने के अलावा डिएडिक्षन सेंटर और जन जागरूकता अभियान भी चलाये। शराबमुक्त, भ्रष्टाचार मुक्त राजस्थान के लिए छाबड़ा की शहादत अविस्मरणीय रहेगी।
जारी रहेगा अभियान शराबमुक्त होगा राजस्थान
असहाय गरीबों के हक और अधिकार के लिए संघर्ष करने में हमेषा आगे रहने वाले स्वं गुरुशरण छाबड़ा जी ने भष्टाचार, विस्थापन जैसे गंभीर मुद्दों पर जनसहयोगीयों के साथ मिलकर उन्होनें अनेक आंदोलन किये। स्वं गुरुशरण छाबड़ा जी ने 14 बार अनशन किया सिर्फ जनहित के मुद्दों के लिए और 14वीं बार उन्होंने अपने प्राणों की आहुति दी। स्वं गुरुशरण छाबड़ा जी 69 वर्ष के थे, उन्होंने 1977 में जनता पार्टी के टिकट पर सूरतगढ़ से विधायक चुनें गए थे। स्वं गुरुशरण छाबड़ा जी षराबबंदी को पूरी मुस्तैदी से लागू करने के लिए हर पहलू पर फोकस किया। तथा सख्त कानून लागू करवाने के अलावा डिएडिक्षन सेंटर और जन जागरूकता अभियान भी चलाये। शराबमुक्त, भ्रष्टाचार मुक्त राजस्थान के लिए छाबड़ा की शहादत अविस्मरणीय रहेगी।
जारी रहेगा अभियान शराबमुक्त होगा राजस्थान
राज्य में पूर्ण शराब बंदी के लिए जीवन के अंतिम समय तक संघर्ष करने वाले गुरुशरण छाबड़ा के निधन के बाद उनकी बहू पूनम अंकूर छाबड़ा ने आंदोलन का मोर्चा संभाला है। गांधीवादी नेता एवं पूर्व विधायक स्व. गुरुशरण छाबड़ा की पुत्रवधु पूनम अंकूर छाबड़ा का कहना है कि शराब आज मानव जीवन के लिए अभिशाप बन गई है। हजारों परिवार शराब के चलते तबाह हो चुके है। राजस्थान को शराब मुक्त बनाने तथा सशक्त लोकायुक्त की मांग को लेकर दिवंगत छाबड़ा का आंदोलन जारी रहेगा।
संकल्प: स्व. श्री गुरुशरण छाबड़ा जी की शहादत के इस मिशन को उनके पूत्र अंकूर छाबड़ा व पुत्रवधू पूनम अंकूर छाबड़ा ने प्रदेश भर में फैलाने का संकल्प लिया। उनका कहना है कि राजस्थान की जनता अब जाग रही है, आज अनेक संस्थाओं के साथ जुड़े लाखों लोग हमारे साथ है राजस्थान की जनता स्व. श्री गुरुशरण छाबड़ा का बलिदान व्यर्थ नहीं जाने देगी। हर सच्चा इंसान उनके लिए संघर्ष करेगा।
बढ़ गई अपेक्षांए
जब से ये संसार बना नारी की षक्ति से कोई अपरिचित नही रहा है, उसने जब भी काम किया पूरी लगन के साथ किया और अपने पूरे जोष के साथ किया। पूनम छाबड़ा एक ऐसी महिला है जिन्होंने पूरे जोष के साथ अपने ससूर स्व. श्री गुरुशरण छाबड़ा जी के राजस्थान को शराब मुक्त बनाने के मिषन को प्रदेश भर में फैलाने का संकल्प लिया है। आज उन पर समाज की अपेक्षांए बढ़ गई है।
टिप्पणियाँ
एक टिप्पणी भेजें
मेरे द्वारा लिखे गए लेख को आपने पढ़ा और उसपर कमेंट किया उसके लिए आपका धन्यवाद